उत्तराखंड में मानसून के तीन माह बीतने के बाद सामान्य से चार फीसदी कम बारिश दर्ज हुई है। कुछ ही जिले हैं जहां सामान्य से अधिक बारिश हुई है। वहीं दूसरी ओर, मौसम विभाग ने सितम्बर माह के पहले ही हफ्ते के लिए प्रदेश के सभी पर्वतीय जिलों में भारी तीव्र व मध्यम बारिश का येलो अलर्ट जारी किया है। इसमें बागेश्वर सर्वाधिक है। जहां सामान्य से 159 फीसदी अधिक बारिश हुई है। मौसम वैज्ञानिकों का कहना है कि यह चिंता की बात नहीं है। जून माह से लेकर अगस्त 31 तक राज्य में कुल 939.9 एमएम बारिश हुई। जो सामान्य से चार फीसदी कम रही। बागेश्वर में सर्वाधिक 1782.7 एमएम बारिश हुई।
जो जिले में मानसून में होने वाली कुल बारिश का 159 फीसदी अधिक रहा है। चमोली में 1006.6 एमएम बारिश हुई और ये सामान्य से 55 फीसदी अधिक है। इसके अलावा शेष 11 जिले सामान्य से कम फीसदी बारिश वाले बने हुए हैं। हालांकि कुछ जिलों में अंतर मामूली है। अल्मोड़ा में सामान्य से दो, देहरादून में सामान्य से 13, टिहरी में सामान्य से 10, नैनीताल, पिथौरागढ़ में सामान्य से 6 व उधमसिंहनगर में सामान्य से महज चार फीसदी कम बारिश हुई है।
इसके अलावा चम्पावत में सामान्य से 22, पौड़ी में सामान्य से 32, हरिद्वार में सामान्य से 22, रुद्रप्रयाग में सामान्य से 24 व उत्त्रकाशी में सामान्य से 28 फीसदी कम बारिश हुई है। मौसम विभाग के निदेशक बिक्रम सिंह के अनुसार, मानसून अभी तक अनुमान के हिसाब से ही बरसा है। मौसम विभाग ने इस बार सामान्य मानसून का पूर्वानुमान लगाया था। आंकड़े भी उसी की तस्दीक कर रहे हैं।